अभी मेरे पास 4 जिम हैं, 5 ट्रेनर हैं, बॉडीबिल्डिंग के लिए 2 कोच हैं। पावरलिफ्टिंग के लिए 2 जगह है।
- लगभग 35-40k INR / महीने का खर्च होता है।
- मैंने मुंबई बड़े स्टार्स से लेकर चॉल में रहने वालो के साथ काम किया है। सबकी एक ही कहानी है।
- "प्रोटीन पाउडर" सप्लीमेंट जो आप पहले महीने खरीदते हैं वह बेकार है और सबसे अधिक संभावना है कि आप अगले महीने वापस नहीं खरीदेंगे उसे और हाँ, इस प्रोटीन पाउडर से 500 ग्राम भी मांसपेशियों को लाभ नहीं होता।
- अधिकांश इंस्ट्रक्टर आपको कसरत कैसे करना है वह सीखाएंगे लेकिन वे आपको यह नहीं बताएंगे कि आपको प्रत्येक सप्ताह अलग अभ्यास करने की आवश्यकता है।
- आहार पर कोई जानकारी नहीं देगा।इसलिए कोई आश्चर्य नहीं कि 1 अरब लोगों के देश को ओलंपिक में दोहरे अंकों के पदक नहीं मिलते है।
- बिना चिकन खाए तो सेहत नहीं बनेगी। आप अगर शाकाहारी है तो बहुत मुश्किल है। ये मत कहियेगा की आपके दोस्त ने बॉडी बनायीं है।
- खर्चा तो बहुत होता है। सिर्फ खाने पर ही काम से काम 20 - 30 हज़ार लग जायेंगे। अच्छे पर्सनल ट्रेनर काम से काम एक लाख लेते है मगर आप आधे समय में अंतर देखेंगे।
- अंतर देखने के लिए आपको कम से कम 6 महीने तक नियमित रहना होगा। दूसरो से 2 साल पहले कर सकते हैं।
- यह 1 साल का "पैकेज डील" एक बड़ा नाटक है, आधे से ज्यादा तो भर्ती होते के बाद जोइन वापस कभी नहीं वापस आते है।
- भारत में बने सभी सप्लीमेंट्स में कोई लैब सर्टिफिकेशन नहीं है। उदाहरण के लिए, Musclblaze ON (टैक्स को हटाने) के बराबर मूल्य पर बेचा जा रहा है। मैं ऐसी किसी भी चीज़ को नहीं छूऊँगा जो प्रमाणित नहीं है।
- वजन हर जगह समान हैं, मेरा सुझाव है कि अपने कोच पर अधिक खर्च करें और फैंसी जिम पर कम करें। और सबसे महत्वपूर्ण बात है की आपको नियमित और अनुशाशन पूर्ण होना चाइये।
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